अमेरिका और चीन के बीच बढ़ते तनाव ने एक बार फिर वैश्विक बाजार को झटका दिया है. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने घोषणा की है कि 1 नवंबर 2025 से चीन से आयात किए जाने वाले सभी उत्पादों पर 100% नया टैरिफ लगाया जाएगा, जो पहले से लागू शुल्कों के अतिरिक्त होगा. यह ऐलान ऐसे समय में हुआ जब चीन ने अमेरिकी चिप निर्माता कंपनी क्वालकॉम (Qualcomm) के खिलाफ एंटीट्रस्ट जांच शुरू की है. यह जांच क्वालकॉम द्वारा इजरायली चिप डिजाइनर कंपनी ऑटोटॉक्स (Autotalks) के अधिग्रहण से जुड़ी है.
चीन ने क्वालकॉम पर एंटीट्रस्ट जांच शुरू की
10 अक्टूबर को चीन की स्टेट एडमिनिस्ट्रेशन फॉर मार्केट रेगुलेशन (SAMR) ने घोषणा की कि वह क्वालकॉम की जांच कर रही है. आरोप है कि कंपनी ने ऑटोटॉक्स के अधिग्रहण सौदे के कुछ डिटेल्स सही तरीके से घोषित नहीं किए थे, जिससे चीन के प्रतिस्पर्धा कानूनों का उल्लंघन हुआ है. यह डील जून 2025 में फाइनल हुई थी.
क्वालकॉम ने इससे पहले 2015 में भी चीन के एंटीट्रस्ट कानूनों के तहत $975 मिलियन का जुर्माना भरा था. रिपोर्ट्स के मुताबिक, कंपनी ने 2024 में इस डील को रोक दिया था, लेकिन इस साल इसे पूरा कर लिया गया. ऑटोटॉक्स वाहन-से-वाहन (Vehicle-to-Everything या V2X) कम्युनिकेशन चिप बनाती है, जो कार दुर्घटनाओं को रोकने और ऑटोमोटिव टेक्नोलॉजी को और स्मार्ट बनाने में मदद करती है.
अमेरिका का चीन पर बड़ा आर्थिक हमला
ट्रंप प्रशासन ने कहा है कि चीन के रेयर अर्थ मिनरल्स (Rare Earth Minerals) और लिथियम बैटरी पर नए निर्यात नियंत्रण के जवाब में यह बड़ा कदम उठाया गया है. अमेरिकी राष्ट्रपति ने यह भी कहा कि अमेरिका एकतरफा कार्रवाई करेगा, चाहे अन्य देश क्या करें. उन्होंने संकेत दिया कि वह अगले महीने APEC शिखर सम्मेलन में चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से होने वाली मुलाकात को रद्द भी कर सकते हैं.
ट्रंप ने साथ ही यह भी कहा कि अमेरिका सभी महत्वपूर्ण सॉफ्टवेयर पर एक्सपोर्ट कंट्रोल्स (निर्यात प्रतिबंध) भी लागू करेगा. Carthage Capital के संस्थापक स्टीफन वू के अनुसार, चीन केवल औपचारिक गलती पर कार्र वाई नहीं कर रहा. यह अमेरिका की चिप और ऑटोमोटिव सप्लाई चेन पर दबाव बनाने की रणनीति का हिस्सा है.
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